आज कल जब भी WhatsApp खोलो तो लगता है WhatsApp नहीं हरि की पौड़ी हरिद्वार आ गए हैं। जहाँ इतना अथाह ज्ञान बरसता है कि मन एकदम शुद्ध हो जाता है। सभी WhatsApp संतों को प्रणाम।
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आज कल जब भी WhatsApp खोलो तो लगता है WhatsApp नहीं हरि की पौड़ी हरिद्वार आ गए हैं। जहाँ इतना अथाह ज्ञान बरसता है कि मन एकदम शुद्ध हो जाता है। सभी WhatsApp संतों को प्रणाम।
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