निकलते है तेरे आशिया के आगे से सोचते है की तेरा दीदार हो जायेगा
खिड़की से तेरी सूरत न सही तेरा साया तो नजर आएगा
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निकलते है तेरे आशिया के आगे से सोचते है की तेरा दीदार हो जायेगा
खिड़की से तेरी सूरत न सही तेरा साया तो नजर आएगा
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