गुफ्तगुँ करते रहा कीजिए,
यही इंसानी फितरत है।
वरना बंद मकानों में
अक्सर जाले लग जाते हैं...।
💕☝

लोग समजते हे की में तुम्हारे हुस्न पे मरता हूँ , अगर तुम भी यही समजते हो तो सुनो ; जब हुस्न खोदो तब लौट आना !!

शायरी लिखना बंद कर दूंगा अब मैं यारो
मेरी शायरी की वजह से दोस्तों की आँखों में आंसू अब देखे नहीं जाते

कल का दिन किसने देखा है आज का दिन हम खोएँ क्यों
जिन घड़ियों में हँस सकते हैं उन घड़ियों में रोएँ क्यों

कल का दिन किसने देखा है आज का दिन हम खोएँ क्यों
जिन घड़ियों में हँस सकते हैं उन घड़ियों में रोएँ क्यों

माँ बाप की सेवा सफलता की
सीढ़ी का सबसे
मजबूत डंडा
है...
इसको अगर छोड़ दिए तो कभी ऊपर नही
उठ
सकते ।।

मैने खुदा से पुछा कि क्यूँ तू हर बार छीन लेता है मेरी हर पसंद
वो हंस कर बोला मुझे भी पसंद है तेरी हर पसंद

देख बेबी पोस्ट मेरी अच्छी है सोच मेरी सच्ची है
लेकिन मैं तुझे अभी भी पसंद नहीं आया तो sweet heart तू अभी बच्ची है

तुम्हें जब कभी मिलें फ़ुर्सतें मेरे दिल से बोझ उतार दो
मैं बहुत दिनों से उदास हूँ मुझे कोई शाम उधार दो

जीने का तरीका काश वो फूटपाथ पे खेल रहा बच्चा मुझे सिखा दे
ना जाने भूखा पेट लेकर कैसे मुस्कुरा लेता हैं

फुर्सत नहीं इंसान को घर से
मंदिर तक आने की..
और,
ख्वाहिशे रखता है
शमशान से सीधा स्वर्ग
तक जाने की..!

मैं मशहूर होके भी क्या करूँ ए दोस्त इस बस्ती में
मेरे सारे ख्वाब बहा दिए मैंने रख के एक डूबती कश्ती में

मोहब्ब्त किसी से तब ही करना जब निभाना सिख लो
मजबूरियों का सहारा लेकर किसीको छोड़ देना वफादारीनही होती

अपनी आदतों के अनुसार चलने में इतनी गलतियाँ नहीं होती हैं
जितनी दुनिया का लिहाज रखकर चलने में होती हैं

ིइतना तो दर्द मुझे जिन्दगी तूने दिया ही नहीं था
जितना बदनाम मैने तूझे वाह वाहीया बटोरने के लिए कर दिया