दिल की किताब में गुलाब उनका था..
रात की निंदों में, खवाब उनका था...
कितना प्यार करते हो, हमने पुछा उनसे..
मर जाएँगे आपकी खातिर, ये जवाब उनका था...

हर कोई तुमसा ख़ास नहीं होता जो ख़ास होता है वोह कभी पास नहीं होता
यकीन ना आये तो चाँद को ही देखो जिसके दूर होते हुए भी दूरी का एहसास नहीं होता

“दिन तेरे ख़याल में गुजर जाता हैं
रातों को भी ख़याल तेरा ही आता हैं
कभी ये ख़याल इस तरह बढ़ जाता है की
आयने में भी तेरा ही चेहरा नज़र आता हैं

सब कुछ है मेरे पास पर दिल की दवा नहीं
दूर वो मुझसे है पर मैं खफा नहीं
मालूम है अब भी प्यार करता है मुझसे
वो थोडा सा जिद्दी है मगर बेवफा नहीं

इस नाचीज़ दिल की गुस्ताख़ी तो देखो चला हैं चाँद से इश्क़ का इज़हार करने
जिसकी रोशनी से रोशन है पूरी दुनिया उसी को चला है प्यार का रोशनी देने

दिल लगाने वाले लाखों मिलेंगे..
प्यार करने वाले हज़ारों मिलेंगे..
मिलने वाले हर रोज़ मिलेंगे...
पर प्यार करने वाले हम जैसे कभी नही मिलेंगे..

एक मुलाक़ात करो हमसे इनायत समझकर,
हर चीज़ का हिसाब देंगे क़यामत समझकर,
मेरी दोस्ती पे कभी शक ना करना,
हम दोस्ती भी करते है इबादत समझकर
...

वो नाराज हैं हमसे की हम कुछ लिखते नहीं
कहाँ से लाऐं लफ्ज जब मिलते नहीं
दर्द की जुबान होती तो बता देता शायद
वो जख्म कैसे कहें जो दिखते नहीं

ऐ मोहब्बत तेरे अंजाम पे रोना आया; जाने क्यों आज तेरे नाम पे रोना आया; यूँ तो हर बात शाम उम्मीदों में गुज़र जाती है; आज कुछ बात है जो शाम पे रोना आया।

मोहब्बत भी अजीब चीज बनायीं खुदा तूने! तेरे ही मंदिर में; तेरी ही मस्जिद में; तेरे ही बंदे; तेरे ही सामने रोते हैं! तुझे नहीं किसी और को पाने के लिए!

प्यार तो जिन्दगी को सजाने के लिए है
पर जिन्दगी बस दर्द बहाने के लिए है
मेरे अन्दर की उदासी काश कोई पढे
ये हसता हुआ चेहरा तो जमाने के लिए है

कुछ रिश्ते इस जहाँ में खास होते हैं; हवा के रूख से जिनके एहसास होते हैं; यह दिल की कशिश नहीं तो और क्या है; दूर रहकर भी वो दिल के कितने पास होते हैं।

तेरे बिना टूटकर बिखर जाएँगे,
तुम मिल गये तो गुलशन की तरह खिल जाएँगे,
तुम ना मिले तो जीते जी मार जाएँगे,
तुम्हे पा लिया तो मारकर भी जी जाएँगे.

आँखो के रास्ते से दिल में उतर गये हो
खुशबु की तरह आँगन-आँगन बिखर गए हो
तेरा जिस्म जब से नजरो ने छू लिया है
तुम भी निखर गये हो हम भी निखर गए हैं

मुस्कराहट का कोई मोल नहीं होता ,
कुछ रिश्तों का कोई तोल नहीं होता
लोग तो मिल जाते है हर मोड़ पर
लेकिन हर कोई आप सब
की तरह
अनमोल नहीं होता !!!